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मनरेगा श्रमिकों के लिए खुशखबरी! अब आधार नंबर न होने की स्थिति में भी दिया जाएंगा काम

महात्मा गांधी राष्ट्रीय रोजगार गारंटी योजना के अंर्तगत पंजीकृत श्रमिकों को आधार पर आधारित पेमेंट सिस्टम में लाने की समय सीमा 30 जून को खत्म हो रही है।

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Newz Funda, New Delhi केंद्रीय ग्रामीण विकास मंत्रालय मनरेगा के तहत पंजीकृत करीब 88 से 90 प्रतिशत श्रमिकों को इस महीने के अंत तक अनिवार्य आधार बेस्ड पेमेंट सिस्टम के अंतगर्त लाने की उम्मीद कर रहा है।

विभाग से संबंधित अधिकारियों ने शुक्रवार को यह जानकारी दी। महात्मा गांधी राष्ट्रीय रोजगार गारंटी योजना 'मनरेगा' के तहत पंजीकृत श्रमिकों को नए पेमेंट योजना के अंर्तगत लाने का प्रयास किया जा रहा है।

जिसके लिए विभाग की ओर से आधार बेस्ड पेमेंट सिस्टम में लाने की समय सीमा 30 जून को समाप्त हो रही है। हालांकिए मंत्रालय का कहना है कि मनरेगा श्रमिकों  के पास यदि आधार नंबर नहीं है तो उन्हें काम देने से इनकार नहीं किया जाएगा। मनरेगा काम के साथ उन्हे समय पर पैसों का भूगतान भी किया जाएगा। 

शिविर लगा दी जाएगाी जानकारी

ग्रामीण विकास मंत्रालय ने एबीपीएस के तहत शत.प्रतिशत कवरेज हासिल करने के लिए राज्यों से शिविर लगा जानकारी देने के आदेश दिए है।

दिशा निर्देशों में यह भी स्पष्ट किया है कि आधार नंबर मुहैया करने का मनरेगा के लाभार्थियों से अनुरोध किया जाए, लेकिन उनके पास आधार नंबर नहीं होने की स्थिति में उन्हें मनरेगा का काम देने से मना नहीं किया जा सकता। 

मंत्रालय की Official Website पर उपलब्ध आंकड़ों के अनुसार मनरेगा के तहत अभी काम पा रहे करीब 74ण्9 फीसदी श्रमिकों को भुगतान प्रणाली के लिए पात्र माना गया है।

मंत्रालय की Official Website पर उपलब्ध आंकड़ों से यह पता चलता है कि 30 जून की समय.सीमा पूरी करने के लिए प्रतिदिन 14 लाख 91 हजार 848 श्रमिकों को ABPC के तहत रजिस्टर्ड करने की जरूरत है।

हालांकि, कई राज्य अपने लक्ष्य से पीछे हैं और प्रतिदिन के अद्यतन आंकड़े प्रदर्शित करने वाले वेबसाइट के डैशबोर्ड पर उन्हें पीछे छूट गये के रूप में दर्शाया जा रहा है।