DM Expressway: 12 को दिल्ली-मुंबई एक्सप्रेसवे का उद्घाटन पर सफर के लिए करना पड़ेगा 3 दिन और इंतजार, गुरुग्राम-जयपुर रूट पर बने हैं 5 इंटरचेंज, जानें वजह

Newz Funda, New Delhi दिल्ली-वडोदरा-मुंबई एक्सप्रेसवे (DVM) के फेज वन का उद्घाटन प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी 12 फरवरी को दौसा जिले के धनावड़ गांव से करेंगे। हालांकि उद्घाटन के तुरंत बाद इसे नहीं खोला जा सकेगा। यहां पर ट्रैफिक 15 या 16 फरवरी से चालू हो सकेगा।
इस देरी की वजह यह बताई जा रही है कि उद्घाटन समारोह के लिए कई इंतजाम किए जा रहे हैं। समारोह एक्सप्रेसवे पर ही होंगे ऐसे में टैंट, स्टेज आदि का सामान रोड से हटाने में दो से तीन दिन का समय लग सकता है।
वहीं, केंद्रीय सड़क ट्रांसपोर्ट एवं हाइवे मंत्री नितिन गडकरी के इस एक्सप्रेसवे से दौसा तक जाने की चर्चा है, जिसके चलते स्थानीय नेता उनके स्वागत की तैयारी कर रहे हैं। हालांकि उनका कार्यक्रम अभी फाइनल नहीं हुआ है।
NHAI (नैशनल हाइवे अथॉरिटी ऑफ इंडिया) के अधिकारियों का दावा है कि उनका प्रयास रहेगा कि 15 फरवरी से लोग इस पर वाहन दौड़ा सकें। इसी के साथ टोल वसूली शुरू हो जाएगी। शुक्रवार को NHAI अधिकारियों की ओर से टोल दरें जारी कर दी जाएंगी।
खूबियों से भरा है एक्सप्रेसवे
DVM पर सफर करने का लोगों को बेसब्री से इंतजार है। इस एक्सप्रेसवे में अन्य मार्गों के मुकाबले तमाम खूबियां होने का दावा किया जा रहा है। इस पर कारों के लिए 120 किलोमीटर प्रतिघंटा की स्पीड तय की गई है, इससे अधिक स्पीड से गाड़ी ड्राइव करने पर ऑनलाइन चालान कट जाएगा।
स्पीड दर्शाने वाले डिसप्ले जगह-जगह लगाए गए हैं। हाइवे पर हर जगह गाड़ी नहीं पार्क की जा सकेगी। टोल पर वाहनों की कतारें नहीं लगें इसके लिए इंतजार किए गए हैं। एक्सप्रेववे पर एयर ऐम्बुलेंस के लिए जगह-जगह हेलीपैड भी बनाए जाएंगे।
रविवार को प्रधानमंत्री एक्सप्रेस वे का उद्घाटन करेंगे, इसके लिए तैयारियां चल रही है। उद्घाटन के बाद एक्सप्रेस वे को लेागों के लिए नहीं खोला जाएगा। ऑफिशयली एक्सप्रेव वे बुधवार या फिर गुरुवार को खुल सकेगी। इसके लिए जल्द सूचना प्रसारित की जाएगी।
मुदित गर्ग, परियोजना निदेशक, एनएचएआई
पर्यावरण संरक्षण को भी मिलेगा बल
जल संचयन और अपने हरियाली के अंदाज को लेकर यह एक्सप्रेसवे काफी चर्चा में है। इस पर जहां हर 500 मीटर के दायरे में रेन वॉटर हार्वेस्टिंग सिस्टम लगाए गए हैं। वहीं इसपर लगभग 30 लाख पौधे भी लगाए जाने हैं, इनमें कई लाख पौधे लगाए गए हैं।
लोगों की मानें तो मेवात क्षेत्र में NHAI द्वारा जल संचयन की दिशा में उठाया गया यह अभी तक का सबसे बड़ा कदम है। जो पौधे लगाए गए हैं उनमें 80 प्रतिशत पौधे अभी जीवित हैं और 20 प्रतिशत पौधे सूख गए हैं।