CM Yogi से की थी शिकायत; मिलने गई तो Police ने रोका, अब इलाज के नाम पर कर दिया महिला का ये हाल

 

एक महिला ने इलाज में कोताही की शिकायत की थी। जिसके बाद तो उसका और भी बुरा हाल कर दिया गया।

 

Newz Funda, Muradabad उत्तरप्रदेश के मुरादाबाद में जो मामला सामने आया है। उससे पता लगता है कि यहां के अधिकारी कितने संवेदनशील हैं और सीएम की भी कितनी सुनते हैं।

बता दें कि उत्तरप्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ (UP CM Yogi Adityanath) शनिवार को मुरादाबाद (Muradabad) पहुंचे थे। जिनसे मिलने के लिए फरियाद लेकर एक महिला अपने पति, छोटी बच्ची के साथ कार्यक्रम में पहुंची थी।

दोनों सीएम को मिलकर अपनी फरियाद सुनाना चाह रहे थे कि UP Police ने उन्हें रोक लिया और कार्यक्रम से बाहर कर दिया। परिवार एक शिकायत को लेकर सीएम योगी आदित्यनाथ से मिलना चाहता था।

अब आगे जो हुआ, उसे जानने के बाद आपका हैरान होना स्वभाविक है।

महिला का होना था ऑपरेशन

लेकिन कुछ देर बाद सीएम योगी से मिलने पहुंची महिला की तबीयत खराब हो जाती है और पुलिस उसे अस्पताल में भर्ती करवा देती है।

उसके बाद महिला एक सनसनीखेज आरोप लगाती है कि वह पिछले कई दिनों से अस्पताल में भर्ती होने के लिए अस्पताल के चक्कर काट रही है, लेकिन उसे बेड नहीं मिल रहा है।

इसके साथ ही महिला ने आरोप लगाया कि अस्पताल में इलाज के नाम पर डॉक्टर रिश्वत मांगते हैं। बता दें कि पीड़ित महिला बानो के पित्त का ऑपरेशन होना था।

पीड़ित महिला बानो ने मीडिया कर्मियों से बात करते हुए कहा, “सीएमओ साहब ने कहा था कि बिना रिश्वत के तुम्हारा ऑपरेशन होगा और उन्होंने पत्र लिख कर भी दिया था।

इसके बाद हमने डॉक्टर को पत्र दिखाया था। उन्होंने उसे फेंक कर मारा। हमने डॉक्टर के हाथ पैर भी जोड़ें कि हम गरीब आदमी हैं, 4 बेटियां हैं, किराए पर रहते हैं, हमारे पास पैसे नहीं है।

लेकिन उसके बावजूद हमसे 7000 रुपए की रिश्वत की मांग की गई। हमने डॉक्टर के हाथ पैर भी जोड़ें।”

हमने जांच बैठा दी है

इस घटनाक्रम के बाद मुरादाबाद के सीएमएस एनके गुप्ता (Muradabad CMS NK Gupta) ने कर्मचारी के खिलाफ जांच कमेटी बैठा दी और डॉक्टर से पूरे मामले पर सिर्फ स्पष्टीकरण मांगा गया।

एनके गुप्ता ने मीडिया से बात करते हुए कहा कि जिसकी शिकायत पीड़ित महिला ने की है उसके खिलाफ में जांच कमेटी बैठा दी है और डॉक्टर से भी स्पष्टीकरण मांगा है और यह भी निर्देश दिया है कि आगे से ऐसे मामले सामने नहीं आने चाहिए।

आगे भी जिसके खिलाफ शिकायत आएगी, उसके खिलाफ जांच बैठा दी जाएगी और डॉक्टर के खिलाफ भी हमने स्पष्टीकरण मांगा है।

इस घटनाक्रम को लेकर सोशल मीडिया पर भी लोगों का गुस्सा फूट रहा है। लोग पुलिस के रवैए पर भी सवाल उठा रहे हैं कि जिस प्रकार से पति, पत्नी और बच्ची को सीएम योगी के कार्यक्रम से निकाल दिया गया, वो गलत था।

हालांकि अभी तक इस पूरे मामले पर पुलिस की ओर से कोई आधिकारिक बयान नहीं आया है।